Tuesday, November 17, 2009

भीगी आँखों से मुस्कराने में मज़ा और है,

भीगी आँखों से मुस्कराने में मज़ा और है,
हसते हँसते पलके भीगने में मज़ा और है,
बात कहके तो कोई भी समझलेता है,
पर खामोशी कोई समझे तो मज़ा और है...!
मुस्कराना ही ख़ुशी नहीं होती,
उम्र बिताना ही ज़िन्दगी नहीं होती,
दोस्त को रोज याद करना पड़ता है,
क्योकि दोस्त कहना ही दोस्ती नहीं होती.

आपके पास दोस्तों का खजाना है,
पर ये दोस्त आपका पुराना है,
इस दोस्त को भुला ना देना कभी..
क्यूँ की ये दोस्त आपकी दोस्ती का दीवाना है
ऐसा दोस्त चाहिए जो हमे अपना मान सके,
जो हमारा दिल को जान सके,
चल रहा हो हम तेज़ बेरिश मे,
फिर भी पानी मे से आँसुओ को पहचान सके!!!!

ख़ुश्बू की तरह मेरी सांसो मे रेहाना……
लहू बनके मेरी नसनस मे बेहाना,
दोस्ती होती है रिस्तो का अनमोल गेहना………..*******
इसलिया इस दोस्ती को कभी अलविदा ना कहना.***********


याद आए कभी तो आँखें बंद मत करना.................

हम ना भी मिलें तो गम मत करना!!!!

ज़रूरी तो नही के हम नेट पेर हैर रोज़ मिलें
मगर ये दोस्ती का एहसास कभी कम मत करना

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